चंडीगढ़: पिछले कुछ साल से फर्जी पासपोर्ट या अन्य गैरकानूनी तरीकों से वांछित आतंकवादियों, गैंगस्टरों, तस्करों और कट्टरपंथियों के कनाडा, अमेरिका और अन्य यूरोपीय देशों में भागने के 368 मामले सामने आए हैं. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अब इस मामले की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी को सौंप दी है. इन अपराधियों का पता करने के लिए अब एनआईए और पंजाब पुलिस संयुक्त रूप से काम करेगी. फर्जी तरीके से विदेशों में भागे सबसे अधिक अपराधी पंजाब से संबंधित हैं, इसलिए एनआईए ने पंजाब पुलिस ने इन अपराधियों की सूची मांगी है. पंजाब पुलिस भी विभिन्न अदालतों से ऐसे अपराधियों की जानकारी एकत्रित करेगी.
जानकारी के मुताबिक वांछित आतंकवादियों, गैंगस्टरों, तस्करों और कट्टरपंथियों ने कनाडा और अमेरिका तक पहुंचने के लिए छात्र या आगंतुक वीजा प्राप्त करने के लिए आसानी से फर्जी पहचान और पासपोर्ट का उपयोग किया है. वे न केवल विदेशों में पहुंच कर भारत के खिलाफ काम करते हैं, बल्कि यह दावा करते हुए शरण भी मांगते हैं कि भारत में उन्हें गलत तरीके से सताया गया है. हाल के दिनों में सबसे चौंकाने वाले मामलों में से एक गैंगस्टर और सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड के सरगना लॉरेंस बिश्नोई के छोटे भाई अनमोल बिश्नोई का विदेश भाग जाना था. 29 मई 2022 को मूसेवाला की हत्या से ठीक एक महीने पहले अप्रैल में अनमोल एक अन्य वांछित गैंगस्टर सचिन थापन के साथ जाली पासपोर्ट पर विदेश भाग गया था.
सिद्धू मूसेवाला की हत्या के मामले का मास्टरमाइंड गोल्डी बराड़ ने अपने खिलाफ 21 एफआईआर दर्ज होने के बावजूद फर्जी कागजात पर कनाडा का विजिटर वीजा हासिल किया था. गैंगस्टर-आतंकवादी अर्श दल्ला का सहयोगी रिंकू रंधावा भी फर्जी दस्तावेजों पर कनाडा चला गया वह 2020 में एक डेरा अनुयायी की हत्या में पैसा व रसद पहुंचाने का आरोपी था. रिपुदमन मलिक की हत्या में शामिल अर्श डल्ला फर्जी कागजात पर कनाडा पहुंचा था और वहां जाने के बाद उसे कनाडाई पीआर मिला.बाबा डल्ला सुखप्रीत बुड्डा गिरोह के एक प्रमुख सदस्य है, बाबा डल्ला ने अपने खिलाफ छह एफआईआर दर्ज होने के बावजूद कनाडा के लिए आगंतुक वीजा प्राप्त किया.
बंबीहा गिरोह का सरगना सुक्खा दुनेके जो गुरुवार को कनाडा में मारा गया था, विजिटर वीजा पर वहां गया था. गैंगस्टर-कट्टरपंथी रमन जज भी विजिटर वीजा पर कनाडा गया था, बाद में वर्क वीजा पाने में कामयाब रहा. सूत्रों ने कहा कि अमेरिका में कैलिफोर्निया पंजाब के गैंगस्टरों के साथ-साथ खालिस्तानी गुर्गों के लिए पसंदीदा छिपने की जगह है. कल ही राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने 10 खालिस्तानियों की सूची जारी की, जिन्होंने हाल ही में सैन फ्रांसिस्को में भारतीय वाणिज्य दूतावास पर हमला किया था.