अंधविश्वासऔर विकास के बीच फस जाती है , उत्तर प्रदेश की सियासत

0 386

नोयडा के लिए हमेशा एक अधविश्वास की बात रही है , यहां जो भी मुख्यमत्रीं आता हैं वह वापस मुख्यमत्रीं की गद्दी पर नही बैठ पाता! है, यही कारण है कि बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती से लेकर समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव तक नोएडा आने से कतराते रहे हैं। जबकि अखिलेश यादव आस्ट्रेलिया में पढ़े हैं, आधुनिक विचारों के हैं, फिर भी उनका नोएडा न आना यह दर्शाता है कि वह भी मिथक पर ज्यादा भरोसा करते हैं, खुद पर कम।

वहीं इस मिथक के विपरीत उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में योगी आदित्यनाथ ने इसे कभी अपने राह की बेड़ी नहीं बनने दिया। वैसे तो वह कई बार नोएडा आए, लेकिन बीते दिनों एनसीआर यानी राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के विकास से संबंधित एक फोरम में इस बारे में उनसे जब सीधे सवाल किया गया तो उनका जवाब था, ‘मैं इस तरह के मिथक पर भरोसा नहीं करता। मुझे खुद पर विश्वास है, अपने विकास कार्यो पर पूरा भरोसा है।’ इसी कार्यक्रम में उन्होंने एनसीआर को उत्तर प्रदेश का चेहरा भी बताया। जाहिर है, इस चेहरे की खूबसूरती वही संवार सकता है जो इसे करीब से देखे।

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया Vnation के Facebook पेज को LikeTwitter पर Follow करना न भूलें...
Leave A Reply

Your email address will not be published.