6 महीने पहले भी हुआ था अंजलि का एक्सीडेंट, तब भी नशे में थी; हवा में उछल गई थी स्कूटी

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नई दिल्ली: दिल्ली के सुल्तानपुरी पुलिस अंजलि कांड की जांच के अंतिम चरण में पहुंच रही है। अंजलि छह माह पहले भी सड़क दुर्घटना में बुरी तरह से घायल हुई थी। यह घटना बीते साल 16 जुलाई को पीरागढ़ी इलाके में हुई थी। इसकी एक फुटेज भी मिली है, जिसमें अंजलि की स्कूटी दुर्घटनाग्रस्त होते दिखाई दे रही है। इस फुटेज में तेज रफ्तार में आ रही स्कूटी सड़क किनारे पड़े टायर से टकराकर हवा में उछलकर नीचे गिर जाती है। पुलिस ने घायल का मेडिकल कराया था, जिसमें अंजलि के खून से एल्कोहल की मात्रा भी मिली थी। दरअसल, अंजलि के परिजनों ने कहा था कि छह माह पहले सड़क दुर्घटना का रूप देकर उसकी हत्या की कोशिश हुई थी। इस हादसे में अंजलि करीब 15 दिन तक अस्पताल में भर्ती थी।

सभी इंस्पेक्टर के लिए नए निर्देश जारी किए
अंजलि कांड से प्रश्नों के घेरे में आई दिल्ली पुलिस ने कुछ नए आदेश जारी किए हैं। रोहिणी जिले में एसएचओ, एटीओ और ब्रेवो सभी तीनों इंस्पेक्टर के लिए नए निर्देश जारी किए गए हैं। शुक्रवार को जारी आदेश में कहा गया है कि रात को सभी तीनों इंस्पेक्टर अपने इलाके में गश्त करेंगे। साथ ही रात 12 बजे से सुबह 4 बजे के बीच अपनी लाइव लोकेशन साझा करेंगे। इसके अलावा बिना डीसीपी की अनुमति के वे थाना नहीं छोड़ेंगे। दरअसल, अंजलि कांड में सभी पीसीआर कॉल रोहिणी इलाके में हुई थी। इसमें रोहिणी जिले की पीसीआर वैन लाश लेकर घूम रही कार को ढूंढ़ने में असफल रही, जिसकी वजह से यह आदेश जारी किया गया है।

आगरा में 10 किलो गांजे के साथ पकड़ी गई थी निधि
कंझावाला कांड की इकलौती गवाह निधि को लेकर लगातार नए खुलासे हो रहे हैं। कंझावला केस की गवाह निधि ड्रग पैडलर है। छह दिसंबर 2020 को आगरा कैंट रेलवे स्टेशन पर निधि को दो दोस्तों के साथ पुलिस ने पकड़ा था। तीनों के पास दस-दस किलो गांजा मिला था। बाद में उन्हें जेल भेजा गया। करीब डेढ़ महीने आगरा की जेल में रहने के बाद वह जमानत पर बाहर आई थी। शनिवार को भी निधि के मामले की तारीख थी, लेकिन वह नहीं गई और उसके अधिवक्ता ने आवेदन लगाकर अगली तारीख ले ली। शनिवार को ड्रग पैडलर के तौर पर उसकी तस्वीर सामने आई। आगरा कैंट स्टेशन के फुटओवर ब्रिज के पास चेकिंग के दौरान छह दिसंबर 2020 को राजकीय रेलवे पुलिस ने दो युवकों और एक युवती को पकड़ा था। युवती ने अपना नाम निधि पुत्री स्वर्गीय सतपाल सिंह वाल्मीकि पता सुल्तानपुरी बताया था। युवकों ने अपने नाम समी उर्फ माही (रानीखेड़ा, भाग्य विहार उत्तर पश्चिम दिल्ली) व रवि कुमार (गुरु योगराज पुरम, रानी खेड़ा दिल्ली) बताए थे। तीनों पर केस दर्ज कर उन्हें जेल भेजा गया था। मामले में 31 जनवरी को पुलिस ने कोर्ट में चार्जशीट पेश की थी। निधि के बयान में केस डायरी में लिखा था कि वे तेलंगाना से गांजा लेकर आए थे।

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