इस्लामाबाद : आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तानियों को राहत देने के लिए पाक सेना ने अब नई कवायद शुरू की है. इसके लिए सेना ने देश में 10 लाख एकड़ से अधिक कृषि भूमि पर कब्जा कर खेती करने की तैयारी कर रही है। निक्केई एशिया की एक रिपोर्ट में बताया कि पाकिस्तानी सेना गरीबी से जूझ रही जनता (people suffering from poverty) के लिए भोजन की व्यवस्था करने में जुट चुकी है और इसके लिए सरकारी स्वामित्व वाले भूमि के बड़े हिस्से पर कब्जा करना भी शुरू कर दिया है. हालांकि सेना के इस कदम से पाकिस्तान में एक बार फिर सेना के बढ़ते दबदबे को लेकर चिंताएं बढ़ गई हैं।
रिपोर्ट में बताया गया है कि साल 2024 से नया खाद्य सुरक्षा अभियान की शुरुआत की जाएगी और यह काम नागरिक सैन्य निवेश निकाय के जरिए की जाएगी. रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि योजना के अनुसार पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में दिल्ली से लगभग तीन गुना बड़ा क्षेत्र यानी कि करीब 10 लाख एकड़ जमीन को सेना अधिग्रहण करेगी. वहीं इस योजना को सपोर्ट करने वालों का मानना है कि इस कदम के चलते पाकिस्तान में फसल की बेहतर पैदावार होगी और पानी की भी बचत होगी।
रिपोर्ट में बताया है कि फसल बेचने से होने वाले लाभ का लगभग 20 फीसदी हिस्सा कृषि अनुसंधान और विकास के लिए रखा जाएगा. जबकि बाकी का हिस्सा सेना और राज्य सरकार के बीच बराबर बांटा जाएगा. हालांकि सेना के इस कदम को लेकर कई लोगों ने चिंता जताते हुए कहा है कि पाकिस्तान में सेना पहले से ही बहुत शक्तिशाली है. ऐसे में खाद्य सुरक्षा अभियान के जरिए भारी मुनाफा कमा सकती है और इसके चलते पाकिस्तान के करोड़ों ग्रामीण भूमिहीन गरीबों को भारी नुकसान हो सकता है।
बता दें कि हाल ही में पाकिस्तान की आर्थिक हालात को लेकर एक रिपोर्ट जारी किया था, जिसमें बताया था कि वर्तमान समय में करीब 9 करोड़ लोग गरीबी का दंश झेल रहे हैं. करीब एक साल पहले संयुक्त नागरिक-सैन्य निवेश बॉडी ने पाकिस्तान की खाद्य सुरक्षा को लेकर प्लान लॉन्च किया था, जिससे की फसल की पैदावार में बढ़ोतरी हो सके।