नई दिल्ली: करवा चौथ 1 नवंबर को है। इस दिन सुहागिन महिलाएं पति की लंबी आयु के लिए व्रत रखेंगी। करवा चौथ का सनातन धर्म में बहुत महत्व है। पंचांग के मुताबिक, प्रत्येक वर्ष कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि के दिन यह पर्व मनाया जाता है। इस दिन महिलाएं पति की लंबी आयु के लिए निर्जला व्रत रखती है। इस पर्व में चंद्रमा का बहुत महत्व है। महिलाएं दिन भर व्रत रखकर शाम में पूजा के पश्चात् चांद देखकर ही अपना व्रत तोड़ती है। वही यदि आप भी पहली बार करवा चौथ का व्रत रखने वाली हैं, तो आइए आपको बताते हैं कि करवा चौथ के व्रत के दौरान क्या करना चाहिए और क्या नहीं।
करवा चौथ व्रत के दौरान इन बातों का रखें ख्याल :-
* जो महिलाएं करवा चौथ का व्रत करती हैं, उन्हें इस दिन सोलह श्रृंगार करना चाहिए। सुहागिन स्त्रियों को करवा चौथ के दिन मंगल सूत्र, नोज पिन, बिंदी, चूड़ियां, झुमके आदि पहनना अनिवार्य माना जाता है। ये सभी चीजें स्त्रियों के लिए सौभाग्य, समृद्धि और सुखी वैवाहिक जीवन का प्रतीक हैं। इसके अतिरिक्त हाथों में मेहंदी भी लगानी चाहिए।
* करवा चौथ के त्योहार में सरगी बहुत ही अहम माना जाता है। सुहागिन स्त्रियों को उनकी सास द्वारा सरगी की थाली दी जाती हैं।
* यदि आप करवा चौथ का व्रत रखने वाली हैं, तो सरगी भूलकर भी न छोड़ें। सरगी की थाली में उपस्थित खाद्य पदार्थों को अवश्य खाएं। आमतौर पर सरगी की थाली में ऐसी चीजें होती हैं, जिन्हें खाने से शरीर को ऊर्जा प्राप्त होती है। इसमें फल, नारियल, सूखे मेवे, मिठाई, जूस आदि कई प्रकार की चीजें सम्मिलित होती हैं।
* व्रत खोलते वक़्त तले-भूने खाद्य पदार्थों को खाने से बचें, क्योंकि इससे गैस, दस्त या सूजन की समस्या हो सकती है। आप उपवास तोड़ने के समय नारियल पानी, सूखे मेवे आदि चीजें खाने में सम्मिलित कर सकते हैं
* करवा चौथ के दिन लाल रंग को पहनना शुभ माना जाता है, तो वहीं इस दिन सुहागिन स्त्रियों को सफेद या काले रंग पहनने से भी मनाही होती है। इस विशेष मौके पर लाल, पीला, हरा, गुलाबी आदि अन्य रंगों के कपड़े पहन सकती हैं।
* मान्यता है कि सुहागिन स्त्रियों को करवा चौथ के त्योहार में व्रत खोलने से पहले शाम को कथा सुननी चाहिए। इस विधि का पालन किए बिना निर्जला व्रत अधूरा माना जाता है।
* करवा चौथ के दिन सुहागिन स्त्रियों और परिवार के अन्य सदस्यों को मांसाहारी खाने से बचना चाहिए।