नई दिल्ली: बेंगलुरु जल आपूर्ति और सीवरेज बोर्ड ने शहर में पानी के संकट के बीच वाहनों की धुलाई, फव्वारे और बागवानी के लिए पानी का प्रयोग करने पर प्रतिबंध लगा दिया है. इसका उल्लंघन करने पर पांच हजार रुपये के जुर्माने की घोषणा की है. जारी आदेश में निर्माण गतिविधियों के लिए पानी के उपयोग, मनोरंजन के लिए बनाए गए फव्वारे, मॉल और सिनेमा हॉल में पीने के उद्देश्यों के अलावा पानी के अन्य उपयोग, सड़कों की सफाई और अन्य सफाई कार्यों पर भी प्रतिबंध लगाया गया है. बीडब्ल्यूएसएसबी के अध्यक्ष डॉ. राम वसंत मनोहर ने कहा, आदेश का उल्लंघन करने पर पांच हजार रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा और बार-बार उल्लंघन पर पांच हजार रुपये का जुर्माना और हर दिन 500 रुपये का अतिरिक्त जुर्माना लगाया जाएगा.
बीडब्ल्यूएसएसबी ने कहा है कि शहर में तापमान बढ़ रहा है और बारिश की कमी के कारण जल स्तर नीचे चला गया है. लोगों को सलाह दी जाती है कि वे पानी बर्बाद न करें और विवेक से इसका उपयोग करें. बीडब्ल्यूएसएसबी ने नागरिकों से अपील की है कि अगर कोई आदेश का उल्लंघन करते दिखाई दे तो बीडब्ल्यूएसएसबी के कॉल सेंटर पर शिकायत करें.
वर्ष 2023 में बारिश की कमी के कारण पूरा कर्नाटक, विशेष रूप से बेंगलुरु हाल के वर्षों में जल संकट की सबसे खराब स्थिति का सामना कर रहा है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कम बारिश के लिए अल नीनो प्रभाव को जिम्मेदार ठहराया है. स्थिति की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि बेंगलुरु के कुमारकृपा रोड स्थित कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया के कार्यालय-सह-आवास के अंदर पानी के टैंकर देखे गए हैं.
वहीं उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने कहा कि बेंगलुरु के सदाशिवनगर में उनके घर का बोरवेल पहली बार पूरी तरह से सूख गया है, जबकि यह (घर) सदाशिवनगर सैंकी झील के बगल में स्थित है. बेंगलुरु की सड़कों पर पानी के टैंकर को चक्कर लगाते देखना अब आम हो चला है.