दक्षिण भारत में सीटों की संख्या बढ़ाने पर BJP का फोकस, कर्नाटक सबसे अहम राज्य

0 107

नई दिल्‍ली : लोकसभा चुनाव 2024 की तारीखों का ऐलान होने के साथ ही भारतीय जनता पार्टी दक्षिण भारत में सीटों की संख्या बढ़ाने की रणनीति पर काम कर रही है. बीजेपी के लिए कर्नाटक सबसे अहम राज्य है. यहां पार्टी सत्ता में भी रह चुकी है और राज्य के 28 में से 25 सांसद बीजेपी के ही हैं. हालांकि, राज्य में सत्ता से बाहर होने के बाद बीजेपी के लिए मुश्किलें बढ़ चुकी हैं. राज्य के पूर्व उपमुख्यमंत्री केएस ईश्वरप्पा की बगावत ने भारतीय जनता पार्टी की मुश्किलें और बढ़ा दी हैं. यहां बीजेपी के नेता ही पार्टी की राह में रोड़ा बन रहे हैं.

रिपोर्ट के अनुसार भारतीय जनता पार्टी की उच्चस्तरीय बैठक की गोपनीय बातों को सार्वजनिक किया जा रहा है. इससे लोकसभा चुनाव को लेकर पार्टी की रणनीति कमजोर हो रही हैं और संगठन में असंतोष बढ़ रहा है. बीजेपी के ये नेता ‘विभीषण’ बनकर पार्टी की मुश्किलें बढ़ा रहे हैं.

दक्षिण भारत में भारतीय जनता पार्टी की स्थिति पहले से कमजोर है. यहां के अधिकतर राज्यों में वाम दलों और कांग्रेस का कब्जा है. बीजेपी यहां अपनी पकड़ मजबूत करने की कोशिश कर रही है. ऐसे में कर्नाटक ही एक ऐसा राज्य है, जहां बीजेपी को लोकसभा चुनाव में ज्यादा सीटें मिलने के आसार हैं, लेकिन पार्टी की अंदरूनी कलह बीजेपी का खेल खराब कर सकती हैं. पीएम मोदी ने लोकसभा चुनाव में एनडीए गठबंधन के लिए 400 से ज्यादा सीटें जीतने का लक्ष्य रखा है. कर्नाटक में जेडीएस के साथ गठबंधन करके बीजेपी ने इसकी पूरी तैयारी भी कर ली है, लेकिन अब पार्टी के नेता ही मुश्किलें खड़ी कर रहे हैं.

कर्नाटक में बीजेपी सरकार में उपमुख्यमंत्री रहे केएस ईश्वरप्पा खुलकर बगावत कर चुके हैं. उन्होंने शिवमोगा सीट पर पार्टी के उम्मीदवार के खिलाफ चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है. वह पीएम मोदी की रैली में भी नहीं शामिल हुए. इससे उनके मंसूबे साफ हो चुके हैं. उनके अलावा भी कुछ नेता पार्टी में ‘विभीषण’ की भूमिका निभा रहे हैं. रिपोर्ट के अनुसार बीजेपी केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में चुनावी रणनीति और टिकट बंटवारे को लेकर अहम चर्चा हुई थी. इस बैठक में कर्नाटक बीजेपी के 4-5 वरिष्ठ नेता भी शामिल हुए थे. प्रदेश अध्यक्ष बीवाई विजयन ने राज्य में पार्टी की स्थिति को लेकर रिपोर्ट और पीएम मोदी, अमित शाह के सामने अपना पक्ष रखा. हालांकि, इन गोपनीय बातों को लीक कर दिया गया. इसके साथ ही यह भी कहा गया कि बीएस येदियुरप्पा और बीवाई विजयन कुछ नेताओं का समर्थन कर रहे हैं और कुछ के खिलाफ हैं. इससे पार्टी की मुश्किलें बढ़ रही हैं.

अंदरूनी कलह और नेताओं की बगावत से कांग्रेस पार्टी लंबे समय से परेशान रही है. पार्टी के कई नेता अपनी अलग पार्टी भी बना चुके हैं. मौजूदा समय में कर्नाटक में कांग्रेस के बड़े नेता चुनाव लड़ने से बच रहे हैं. अन्य राज्यों में पार्टी के नेता बगावत कर रहे हैं और इससे परेशानी बढ़ सकती है.

नोट: अगर आपको यह खबर पसंद आई तो इसे शेयर करना न भूलें, देश-विदेश से जुड़ी ताजा अपडेट पाने के लिए कृपया Vnation के Facebook पेज को LikeTwitter पर Follow करना न भूलें...
Leave A Reply

Your email address will not be published.