कानपुर । उत्तर प्रदेश में कानपुर की एक अदालत ने डकैती के दौरान हत्या के मामले में 26 वर्षीय युवक को उम्रकैद की सजा सुनाई। व्यक्ति ने सात साल पहले अपने पड़ोस के घर में डकैती के दौरान निशा केजरीवाल (52) की हत्या कर दी थी। निशा का शव 12 जुलाई 2017 को उनके घर के अंदर मिला था।
पुलिस सीसीटीवी फुटेज के जरिए निशा के पड़ोसी आदित्य नारायण सिंह की घटनास्थल पर मौजूदगी का पता लगाने में सफल रही। वारदात को अंजाम देने के दौरान युवक की उम्र 19 साल थी। यह साबित हो चुका है कि आदित्य नारायण सिंह ने लूटपाट के लिए महिला की हत्या की थी। आरोपी ने वारदात को तब अंजाम दिया जब निशा घर पर अकेली थी। दोषी के निशा केजरीवाल के साथ दोस्ताना संबंध थे। वह घर के हर सदस्य की दिनचर्या से अच्छी तरह वाकिफ था।
पुलिस ने जांच के दौरान आदित्य के घर से सोने-चांदी के आभूषण और 1.4 लाख रुपये नकद बरामद किए थे। कानपुर पुलिस ने बताया कि हत्या से पहले आदित्य तीन साल तक मुंबई में रहा था। उसने सीएलएटी पास कर लिया था और एलएलबी की पढ़ाई भी सिर्फ़ पहले सेमेस्टर में ही की थी। दरअसल, उसे उसकी बुरी आदतों के कारण कॉलेज से निकाल दिया गया था।
अतिरिक्त जिला सरकारी वकील विनोद त्रिपाठी ने कहा कि आरोपी ने जघन्य अपराध किया है। उसने पीड़िता के चेहरे पर हथौड़े और चाकू से 13 वार किए थे। उन्होंने मांग की कि उसे मौत की सजा मिलनी चाहिए।