Shivsena leader : कश्मीर फाइल से भी बड़ी फाइल है INS विक्रांत फाइल ,बोले सजंय राउत
Shivsena leader : शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत के मुताबिक RTI से पता चला है कि राजभवन तक वो पैसे पहुंचे ही नहीं. इसके साथ ही संजय राउत ने कि ये कश्मीर ठोस दावा किया की फाइल से भी बड़ी फाइल है आईएनएस विक्रांत फाइल. संजय राउत दिल्ली में हैं. वहां पर उहोंने प्रेस कांफ्रेंस लेकर ये आरोप बीजेपी पर लगाया है।
वार शिसवेना संजय राउत ने कल ED यानी प्रवर्तन निदेशालय की अपने ऊपर कार्रवाई के बाद बीजेपी के दिग्गज नेता किरीट सोमैया पर हमला बोला है । संजय राऊत ने एक आरटीआई का हवाला वार किया है की बीजेपी के नेता किरीट सोमैया ने आई एन एस विक्रांत को बचाने के लिए आम जनता से पैसे भरे थे । दावा किया था कि वो पैसे राजभवन को दिए गये थे ।
शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत के मुताबिक RTI से पता चला है कि राजभवन तक वो पैसे नही गये । इसके साथ ही संजय राउत ने दावा किया है कि ये कश्मीर फाइल से भी बड़ी फाइल है आईएनएस विक्रांत फाइल ।संजय राउत दिल्ली में हैं. वहां पर उहोंने प्रेस कांफ्रेंस लेकर ये इल्जाम लगाया है ।
क्या है INS विक्रांत
INS विक्रांत भारतीय नौसेना का वह जहाज था । जिससे पाकिस्तान इस कद्र कापतां था कि किसी भी कीमत पर उसको नष्ट कर देना चाहता था। भारतीय नौसेना ने INS विक्रांत के जरीये पाकिस्तान पर एक मनोवैज्ञानिक दबाव डाला था । साल 1961 में आज ही के दिन यानी 4 मार्च को इसे भारतीय नौसेना की सेवा में शामिल थे ।
इस जहाज का निर्माण ब्रिटेन के विकर्स-आर्मस्ट्रॉन्ग शिपयार्ड ने किया था । शुरू में इसका नाम एचएमएस हर्कुलस था। यह ब्रिटेन के मजेस्टिक क्लास का पोत था । जिसे साल 1945 में ब्रिटिश नौसेना की सेवा में मौजूद है । जहाज को सक्रिय सैन्य अभियान में खड़ा किया गया था । उससे पहले ही दूसरा विश्वयुद्ध खत्म हो गया है । उसके बाद नौसेना की सक्रिय ड्यूटी से इस जहाज को हटा दिया गया और फिर साल 1957 में भारतीय नौसेना को बेच डाला । आयरिश हारलैंड और वोल्फ शिपयार्ड में उसका जीर्णोद्धार किया गया ताकि भारतीय नौसेना की जरूरत के अनुरूप जहाज को तब्दिल किया जा सके। 4 मार्च, 1961 को इसको भारतीय नौसेना में डाला गया है । ॉ
जहाज की महत्वपूर्ण बातें
INS विक्रांत 25 नॉट्स यानी 25 समुद्री मील प्रति घंटा की रफ्तार से भागता था । बाद में तकनीकी समस्याओं के कारण इसकी रफ्तार करीब 12 नॉट्स या 12 समुद्री मील प्रति घंटा हुई । इसकी लंबाई 192 मीटर, बीम 24.4 मीटर और ड्राफ्ट 7.3 मीटर था । इस पोत को दो महावीर चक्र और 12 वीर चक्र मिल गये है ।
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रिर्पोट – शिवी अग्रवाल