असंगठित क्षेत्र के सवा करोड़ कर्मचारियों को मिलेगी पेंशन, केंद्र सरकार ने तैयार किया ड्राफ्ट

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नई दिल्ली : केंद्र सरकार ई-कॉमर्स कंपनियों के साथ जुड़कर सेवा प्रदान कर रहे असंगठित क्षेत्र के कर्मचारियों को सामाजिक सुरक्षा के तहत पेंशन (Pension) का लाभ देने जा रही है। इसके लिए ऐसे कर्मचारियों को ईपीएफओ की कर्मचारी पेंशन योजना के दायरे में लाने की दिशा में काम हो रहा है। इस संबंध में कैबिनेट की मंजूरी के लिए जल्द ही एक प्रस्ताव पेश किए जाने की तैयारी है। मंजूरी मिलने के बाद पहले वर्ष में ही देशभर में करीब एक से सवा करोड़ कर्मचारियों को पेंशन योजना का लाभ मिलेगा।

सूत्रों का कहना है कि पेंशन योजना में शामिल होने के लिए गिग वर्कर पर कोई अतिरिक्त वित्तीय भार नहीं पड़ेगा। यानी उनकी सैलरी से इसके लिए कोई पैसा नहीं कटेगा। सामाजिक सुरक्षा संहिता -2020 के तहत ऑनलाइन प्लैटफॉर्म्स के जरिए वस्तु एवं सेवा प्रदान करने वाली कंपनियों से कॉरपोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व निधि के तहत पेंशन से जुड़ा अंशदान लिया जाएगा।

सामाजिक सुरक्षा संहिता में स्पष्ट है कि कॉरपोरेट एवं कंपनियों को अपने कर्मचारियों की सामाजिक सुरक्षा के लिए एक से दो फीसदी योगदान देना होगा, जिसका इस्तेमाल कर्मचारियों के लिए भविष्य को सुरक्षित करने व उनके सामाजिक कल्याण के लिए किया जाएगा।

इस मुद्दे पर श्रम एवं रोजगार मंत्रालय द्वारा गठित समिति ने गिग वर्करों को पेंशन योजना का लाभ देने की सिफारिश की है।इससे पहले समिति द्वारा गिग वर्कर, ई-कॉमर्स कंपनियों के प्रतिनिधियों और विषय विशेषज्ञों के साथ कई दौर की वार्ता आयोजित की जा चुकी है। अब मंत्रालय उसे जल्द लागू करने की दिशा में काम कर रहा है। पेंशन योजना का लाभ देते हुए उनके भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए कई तरह के विकल्प भी दिए जाएंगे।

कर्मियों को ऐसे लाभ होगा
– अगर कोई व्यक्ति शुरुआत में गिग वर्क है, लेकिन कुछ समय के बाद सरकारी या संगठित क्षेत्र में नौकरी करता है तो पेंशन में जमा राशि नए पीएफ खाते में हस्तांतरित हो जाएगी।

– रिटायरमेंट के बाद पेंशन शुरू करने के लिए विकल्प मिलेगा। अगर कोई व्यक्ति चाहता है कि पेंशन 58 से नहीं 65 वर्ष की आयु से दी जाए तो वह विकल्प भी दिया जाएगा।

– पेंशन फंड में जमा पैसा आकस्मिक निधन के बाद निकासी व पेंशन का लाभ परिवार के अन्य सदस्य को दिए जाने के लिए नामिनी को चुनने का विकल्प मिलेगा।

वित्त वर्ष 2025-26 के आम बजट में केंद्र सरकार ने ई-श्रम पोर्टल पर पंजीकृत एक करोड़ गिग वर्क को प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत स्वास्थ्य कवरेज देने का भा ऐलान किया है। अब सरकार सामाजिक सुरक्षा के तहत उनके भविष्य को सुरक्षित करने के उद्देश्य से उन्हें पेंशन योजना का भी लाभ देने जा रही है।

इस बार श्रम और रोजगार मंत्रालय के लिए रिकॉर्ड 32,646 करोड़ रुपए आवंटित किए हैं, जो अब तक का सबसे अधिक और बीते वर्ष के संशोधित अनुमानों से लगभग 80 प्रतिशत अधिक है। इसके साथ ही असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों को स्वास्थ्य बीमा, दुर्घटना बीमा और भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए फंड जैसी सुविधाएं मिल सकेंगी।

ऑनलाइन ऐप या ई-कॉमर्स कंपनी से जुड़कर कैब चालक, डिलीवरी बॉय या इसी तरह का अन्य काम करने वाले कर्मचारियों को गिग वर्कर कहा जाता है। ये पूरी तरह अस्थायी होते हैं। वर्तमान में इनकी संख्या एक करोड़ से अधिक है, जिसके वर्ष 2029-30 तक बढ़कर 2.35 करोड़ के आसपास होने की संभावना है।

 

 

 

 

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