नई दिल्ली। दिल्ली (Delhi) में मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर सस्पेंस खत्म (Suspense over Chief Minister’s face ends) हो गया है. शालीमार बाग सीट से विधायक रेखा गुप्ता (MLA Rekha Gupta) नई मुख्यमंत्री (New Chief Minister) होंगी. बीजेपी विधायक दल की बैठक में उनके नाम पर सर्वसम्मति से मुहर लगी. उनका शपथ ग्रहण समारोह गुरुवार (20 फरवरी) को रामलीला मैदान में होगा. सीएम पद की दौड़ में रेखा गुप्ता सबसे आगे थीं. बैठक में विधायक विजेंद्र गुप्ता (Vijendra Gupta) और प्रवेश वर्मा (Pravesh Verma) ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा, जिसे सभी ने समर्थन दिया. सीएम के चेहरे को लेकर सस्पेंस खत्म होने के बाद अब बारी है मंत्रियों की. सूत्रों के मुताबिक मंत्रिमंडल में प्रवेश साहिब सिंह वर्मा (जाट), मनजिंदर सिंह सिरसा (सिख), रवीन्द्र राज (दलित), कपिल मिश्रा (पूर्वांचली ब्राह्मण), आशीष सूद (पंजाबी) और पंकज सिंह (पूर्वांचली ठाकुर) को शामिल किया जा सकता है।
DU छात्रसंघ की अध्यक्ष से शुरुआत
रेखा गुप्ता ने दिल्ली विश्वविद्यालय से पढ़ाई की है और कॉलेज टाइम से ही वह अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) से जुड़ी रहीं. उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी छात्रसंघ (DUSU) में अध्यक्ष और महासचिव पद का चुनाव भी जीता था. इसके अलावा वह तीन बार दिल्ली नगर निगम में पार्षद रही हैं और साउथ दिल्ली (SDMC) की मेयर भी रह चुकी हैं. उन्होंने शालीमार बाग सीट से AAP की उम्मीदवार वंदना कुमारी को 30 हजार वोटों से हराया है. उन्होंने पहली बार साल 2013 में शालीमार बाग से विधानसभा चुनाव लड़ा था, हालांकि तब AAP की वंदना कुमारी ने करीब 11 हजार वोटों से उन्हें शिकस्त दी थी. वह हार के बाद भी हौसला नहीं हारी और फिर बीजेपी ने उन्हें शालीमार बाग से पार्षद का टिकट दिया और वह जीत दर्ज कर एमसीडी पहुंचीं।
बीजेपी ने रेखा गुप्ता को क्यों चुना?
मुख्यमंत्री पद की रेस में अरविंद केजरीवाल को हराने वाले प्रवेश वर्मा से लेकर दिल्ली के अनुभवी नेता विजेंद्र गुप्ता जैसे कई दिग्गजों के नाम चल रहे थे. बावजूद इसके पार्टी ने रेखा गुप्ता पर दांव लगाया. वैश्य समाज से आने वाली रेखा गुप्ता मूल रूप से हरियाणा के जींद से ताल्लुक रखती हैं. बीजेपी ने महिला मुख्यमंत्री बनाकर पार्टी और सरकार में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने का साफ संदेश दे दिया है।
दिल्ली में रेखा गुप्ता के CM बनने पर, महिला कार्यकर्ताओं में खुशी की लहर
रेखा गुप्ता को मुख्यमंत्री बनाकर बीजेपी ने चुनावी राजनीति और नीतियों में महिलाओं के प्रति बीजेपी की प्राथमिकता दिखाने की कोशिश की है. 70 सदस्यीय दिल्ली विधानसभा के चुनाव में बीजेपी ने 9 महिला उम्मीदवार उतारे थे. इनमें से चार महिला उम्मीदवारों की जीत मिली है. वहीं, दिल्ली में 2025 के विधानसभा चुनाव में महिलाओं ने पुरुषों से ज़्यादा मतदान किया. महिला वोटर्स का टर्नआउट 60.92% रहा, जबकि पुरुषों का 60.21 फीसदी था।