नई दिल्ली : कुछ लोगों के मुंह से ऐसी बदबू आती है कि सांस लेना भी मुश्किल हो जाता है। रोजाना दांतों को ब्रश करने के बाद भी मुंह से दुर्गंध आती रहती है। कुछ लोगों के दांत पीले पड़ जाते हैं और मसूड़ों से खून आने लगता है। ऐसा दांतों के कमजोर होने की वजह से होता है। दांतों की इन समस्याओं से अगर आप परेशान हैं तो सबसे पहले ओरल हाइजीन का ध्यान रखें। हम आपको एक एक ऐसा उपाय बता रहे हैं जो न सिर्फ मुंह से आने वाली बदबू को दूर करेगा बल्कि इससे दांत पीले और मजबूत हो जाएंगे। आपको इसके लिए कोई महंगा पेस्ट नहीं बल्कि एक पौधे का इस्तेमाल करना है। जी हां बबूल का पौधा दांतों के लिए बड़े काम की जड़ी बूटी है। इससे दांतों की सारी समस्याएं दूर हो जाती हैं। बबूल के पौधे में औषधीय गुणों का भंडार है जो दांतों को सफेद बनाने और मुंह की बदबू दूर करने के लिए इस्तेमाल होता है। बबूल मसूड़े, सूजन, प्लाक और दांतों को मजबूत बनाता है।
अगर आपके दांतों का रंग पीला है तो इन्हें सफेद बनाने के लिए बबूल की फली और छिलके को जला कर इस्तेमाल करें। इसकी राख तैयार कर लें और ब्रश की मदद से दांतों पर लगाएं। आपको राख से ब्रश करना है। आप चाहें तो इसकी दातुन बनाकर भी इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए बबूल की किसी मुलायम टहनियों को तोड़कर इसे चबाकर ब्रश जैसा बना लें। इससे ब्रश करने से दांतों का दर्द और पीलापन दूर हो जाएगा।
बबूल के पौधे को अलग-अलग जगहों पर अलग नाम से जाना जाता है। ये बहुत ही गुणकारी पौधा है। बबूल की छाल, गोंद, पत्ते, बीज और फली में में ऐसे औषधीय गुण होते हैं जो दांतों की सारी समस्याओं को दूर कर देते हैं। बबूल के पेड़ में एंटीबैक्टीरियल, एंटी इंफ्लेमेटरी, एंटी हिस्टामिनिक और एंटी हेमोस्टेटिक गुण पाए जाते हैं। बबूल में आयरन, मैंगनीज, जिंक, प्रोटीन और वेलिन, हिस्टिडाइन, आइसोल्यूसीन, थ्रेओनीन, लाइसिन और ल्यूसीन समेत जरूरी विटामिन, मिनरल और अमीनो एसिड होते हैं। बबूल की फली और छाल में पॉलीफेनोलिक और टैनिन होता है। बबूल के गोंद का भी इस्तेमाल किया जाता है। बबूल के गोंद में कैल्शियम, मैग्नीशियम गैलेक्टोज, अरबिनोबायोस और एल्डोबियो यूरोनिक एसिड पाया जाता है।
आयुर्वेद में टूथपेस्ट बनाने के लिए भी बबूल के पेड़ का उपयोग किया जाता है। ओरल हेल्थ का ख्याल रखने के लिए कई टूथपेस्ट में बबूल का इस्तेमाल किया जाता है। बबूल खासतौर से दांतों के पीलेपन की समस्या से छुटकारा दिलाता है। इससे दांतों में होने वाले इन्फेक्शन को भी दूर किा जा सकता है।