अगर किसी इंसान के जीवन में ज्ञान ना हो तो ऐसा जीवन किस काम का। एक ज्ञान ही ऐसी चीज है जिससे पूरी दुनिया पर राज किया जा सकता है। अब आप सोच रहे होंगे मैं आज के दिन इतनी ज्ञान की बातें क्यों कर रही है? तो आपको बता दूं कि आज इसी ज्ञान और संगीत की देवी मां सरस्वती का दिन है जिसको हम सभी बसंत पंचमी के नाम से जानते हैं।
अब जैसा कि नाम से ही पता चल रहा है बसंत पंचमी को बसंत ऋतु के आने की खुशी में मनाया जाता है। धार्मिक मान्यताओं की माने तो इसी दिन माता सरस्वती भी प्रकट हुई थी इसलिए विशेष रूप से इस दिन पर माँ सरस्वती की पूजा की जाती है। उत्तर भारत में इस दिन पीले कपड़े पहनने का बहुत महत्व है। लोग पीले रंग के कपड़े पहनते हैं और पीली चीजें भगवान को भी चढ़ावे के रूप में चढ़ाते हैं।
इसके अलावा इस दिन भारत में जगह-जगह पतंगे भी उड़ाई जाती हैं। ऐसा कहा जाता है कि पतंग उड़ाने का रिवाज हजारों साल पहले चीन में शुरू हुआ था इसके बाद फिर कोरिया और जापान के रास्ते होता हुआ भारत आ पहुंचा। आपको एक दिलचस्प बात और बताते हैं बसंत पंचमी के 40 दिन बाद ही होलिका दहन किया जाता है। इसी दिन होलिका दहन के लिए लकड़ियों को इकट्ठा करके एक सार्वजनिक स्थान पर रख दिया जाता है।
आपको पीले रंग से जुड़ी एक बात और बताते हैं हाल ही में अमेरिका में खोज में यह बात सामने आई है कि पीला रंग इंसान में उमंग को बढ़ाने के साथ-साथ दिमाग को और ज्यादा सक्रिय रखता है यह अध्ययन अमेरिका के 500 से अधिक लोगों पर 3 साल तक किया गया। इसमें पता चला कि जो लोग पीले रंग के कपड़ों को ज्यादा प्रायोरिटी देते हैं उनकी कार्य क्षमता और आत्मविश्वास दूसरों के कंपैरिजन में काफी अधिक था। इस स्टडी में एक और बात सामने आई कि इन लोगों में अपने काम के साथ-साथ खुद को हेल्थी रखने का भी ध्यान रखा ।
पीले रंग के बारे में एक बात और कही जाती है कि अगर आप किस रंग पर अपनी नजरें गड़ाए रखें तो यह तुरंत ही आपके मूड को बदलने की कैपेसिटी रखता है इससे आप दिनभर ऊर्जावान महसूस करते हैं। है ना कमाल का रंग यह। तो आप भी मां सरस्वती की पूजा करिए पीला रंग पहनी है और अपने दिन को खुशी से भर लीजिए।
रिपोर्ट :- मेघा गंगवार