नई दिल्ली : अक्सर हमने बच्चों या फिर बड़े उनके मुंह से सुना है कि भूख नहीं लगी. दरअसल ‘एनोरेक्सिया’ को भूख की कमी के रूप में देखा जाता है. अगर नार्मल भूख की कमी हो तो ठीक है लेकिन अगर ये कमी ‘ईटिंग डिसऑर्डर’ में बदलती है तो फिर इसको ‘एनोरेक्सिया नर्वोसा’ कहा जाता है.
जब व्यक्ति इसका शिकार होता है तो उसको धीरे धीरे हर तरह के भोजन से अरुचि हो जाती है. इस अरुचि होने के कई कारण भी हैं, जैसे मोटे होने का डर, पेट खराब होना, मानसिक तनाव या फिर कोई लंबी बीमारी. अगर आप जीवनशैली में बदलाव करते हैं और कुछ घरेलू औषधियों की मदद से आप इससे उभर सकते हैं-
अगर हम अपनी जीवनशैली में थोड़ा सा बदलाव करते हैं तो इस बीमारी से आराम से उभर सकती हैं. लेकिन पहले हमको पूरी तरह से एनोरेक्सिया नर्वोसा के लक्षण जानना जरूरी है. जैसे-डिहाइड्रेशन, चक्कर आना, थकान, लो ब्लड प्रेशर, शरीर का तापमान कम होना, ओस्टियोपोरोसिस, कंपल्सिव डिसऑर्डर, हाइपरएक्टिविटी, सोशल आइसोलेशन, वजन कम होना, चिंता, डर, कब्ज और उल्टी, आदि.
1. त्रिकटु औषधि : त्रिकटु से पेट की समस्याओं का उपचार होता है.इसमें पीपली, काली मिर्च और अदरक का मिश्रण होता है. आप इस मिश्रण में थोड़ा पानी और शहद मिलाकर पेस्ट बना लें और फिर इसका सेवन करें. अगर नियमित रूप से सेवन किया जाए तो भूख बढ़ती है.
2. अल्फाल्फा : अल्फाल्फा एक प्रकार की घास नुमा जड़ी बूटी होती है, जिसका उपयोग आयुर्वेद में खास रूप से किया जाता है. इसका सेवन चाय आदि के रूप में किया जा सकता है. आपको बता दें कि अलफाल्फा भूख बढ़ाने की बहुत ही अच्छी औषधि है.
3. इलायची : इलायची को हम अक्सर एक प्रकार के माउथ फ्रेशनर (Mouth Freshener) के रूप में देखा जाता है. मुंह की गंध के काम आने के अलावा इलाइची खाना पचाने में काफी मददगार है. इसके अलावा एनोरेक्सिया का उपचार करने के लिए भी ये सहाक मानी जाती है. इसे आप भोजन में मसालों के तौर पर और भोजन करने के बाद सेवन कर सकते हैं.
4. हींग : हींग हर घर में यूज में आती है,यह पेट की समस्याओं से राहत दिलाती है. अगर आप नियमित रूप से अपने भोजन में हींग का प्रयोग कर सकते हैं, जिससे आपकी भूख बढ़ेगी. आधा कप गर्म पानी में लगभग 500 मिलीग्राम हींग पाउडर में एक चम्मच कद्दूकस की हुई अदरक, एक बड़ा चम्मच शहद और आधा नींबू का रस मिलाकर इसके पानी को पिएं.
मानसिक तनाव को दूर करें, इसके लिए अच्छा म्यूजिक सुनें फिल्में देखें और योग करें. खुद को अधिक बिजी रखें. अपना एक फिक्स डाइट चार्ट बनाएं और उसी के आधार पर पोषण खाना खाएं. भोजन को एक साथ ना खाकर थोड़ा थोड़ा करके खाते रहें. जंक फूड से दूरी बनाकर रखें. रोजाना 7 से 8 घंटे की नींद जरूर लें. थोड़ी देर उगते सूरज की धूप में बैठें.