नई दिल्ली. जहां एक तरफ राजीव गांधी हत्याकांड (Rajiv Gabdhi Murdercase) में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) के आदेश के बाद नलिनी (Nalini Sriharan) को रिहा कर दिया गया है। वहीं अपनी रिहाई के बाद आज नलिनी ने कहा कि, “मैं केंद्र और राज्य सरकार से अपील करती हूं कि त्रिची के स्पेशल कैंप में बंद किए गए चारों श्रीलंकाई लोगों को भी छोड़ा जाए। इनमें मेरे पति भी हैं।”दरअसल जेल से छूटने के बाद इन लोगों को फिर जेल जैसे ही एक कैंप में रखा गया है। वहीं अब नलिनी ने खुद को भी निर्दोष बताया है और कहा है कि वह तो खुद ही कांग्रेस की समर्थक थी।
आज रिहाई के बाद नलिनी से प्रेस से बात करते हुए कहा कि, कुछ लोग हमारी रिहाई का विरोध करते हैं। लेकिन हम भी एक कांग्रेसी परिवार हैं। जब इंदिरा गांधी और राजीव गांधी की हत्या हुई, तो हमारा परिवार दुखी था और किसी ने खाना नहीं खाया। मैं यह स्वीकार नहीं कर सकती कि राजीव गांधी की हत्या में मेरा नाम लिया गया था। मुझे उस दोष से अब मुक्त किया जाना चाहिए। हमें नहीं पता कि, उनकी हत्या किसने की थी।”
गौरतलब है कि, इसके पहले नलिनी ने कहा था कि, “मैं निर्दोष हूँ । मेरे पति जहां भी जाएंगे, मैं वहीं जाऊंगी। हम 32 साल से अलग-अलग थे। हमारा परिवार हमारा इंतजार करता रहा।” उसने यह भी कहा था कि, “मेरी बेटी खुश है और यूके में अच्छी तरह से सेटल है। उसके पास ग्रीन कार्ड है। मैं और मेरे पति वहां चले जाएंगे। फिलहाल मेरी गांधी परिवार में किसी से मिलने की योजना नहीं है। लेकिन मैं राज्य और केंद्र सरकार को जरुर धन्यवाद देना चाहती हूं।”
जानकारी दें कि, पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी हत्याकांड में नलिनी श्रीहरन और अन्य दोषियों को करीब 30 साल तक जेल में सजा काटने के बाद बीते शनिवार शाम तमिलनाडु की जेलों से रिहा कर दिया गया है।