नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी से मुलाकात की। इस दौरान दोनों नेताओं के बीच द्विपक्षीय वार्ता भी हुई, जिसमें आपसी सहयोग व देशों के बीच मजबूत संबंधों पर चर्चा हुई।
जी-20 देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हम सभी को यह स्वीकार करना चाहिए कि बहुपक्षवाद आज संकट में है। द्वितीय विश्व युद्ध के बाद बनाई गई वैश्विक शासन की वास्तुकला दो कार्यों को पूरा करने के लिए थी। उनमें पहला- प्रतिस्पर्धी हितों को संतुलित करके भविष्य के युद्धों को रोकना था जबकि जबकि दूसरा सामान्य हित के मुद्दे पर अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देना था। पीएम ने कहा वित्तीय संकट, जलवायु परिवर्तन, महामारी, आतंकवाद और युद्धों के पिछले कुछ वर्षों के अनुभव से स्पष्ट है कि वैश्विक शासन अपने दोनों जनादेशों में विफल रहा है।
बैठक के दौरान प्रधानमंत्री ने कहा, ‘वर्तमान में कोई भी समूह अपने निर्णयों से सर्वाधिक प्रभावित लोगों की बात सुने बिना वैश्विक नेतृत्व का दावा नहीं कर सकता। यह बैठक गहरे वैश्विक विभाजन के समय में हो रही है। विदेश मंत्रियों के रूप में ये स्वाभाविक है कि आपकी चर्चा भू-राजनीतिक तनावों से प्रभावित होगी।’ पीएम बोले- ‘दुनिया विकास, आर्थिक लचीलापन, आपदा लचीलापन, वित्तीय स्थिरता, भ्रष्टाचार, आतंकवाद, खाद्य और ऊर्जा सुरक्षा, विकास की चुनौतियां को कम करने के लिए G20 की ओर देख रही है। इन सभी में G20 में आम सहमति बनाने और ठोस परिणाम देने की क्षमता है।’