कर्तव्य पथ पर गणतंत्र दिवस परेड जारी, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ले रहीं सलामी

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नई दिल्ली: 74वें गणतंत्र दिवस के अवसर पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू कर्तव्य पथ पर तिरंगा फहराया। इसके बाद वह परेड की सलामी लेंगी। मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल-सिसी आज के इस समारोह के मुख्य अतिथि हैं। गणतंत्र दिवस समारोह से पहले राष्ट्रीय राजधानी के कई हिस्सों में सुरक्षा बढ़ा दी गई है। दिल्ली पुलिस के अनुसार, 26 जनवरी को लगभग 65,000 लोग परेड देख रहे हैं। 26 जनवरी की परेड की सुरक्षा के लिए लगभग 6,000 जवानों को तैनात किया गया है, जिसमें दिल्ली पुलिस के अलावा अर्धसैनिक बल और एनएसजी शामिल हैं। करीब 150 सीसीटीवी कैमरों की मदद से कर्तव्य पथ पर नजर रखी जा रही है।

विविधता को दिखा रही राज्यों की झांकियां
उत्तराखंड की झांगी में जागेश्वर धाम को दिखाया गया। वहीं आंध्र प्रदेश की झांकी में वहां कि कृषि को प्रदर्शित किया गया। असम और अन्य राज्यों की झांकियां भी कर्तव्य पथ पर दिखाई दे रही हैं। त्रिपुरा की झांकी में भी पूर्वोत्तर की झलक दिखाई दी।

कर्तव्य पथ पर अग्निवीरों की झांकी
लेफ्टिनेंट कमांडर दिशा अमृत के नेतृत्व में 144 युवा नाविकों की नौसेना टुकड़ी ने आकस्मिक कमांडर के रूप में कर्तव्य पथ पर मार्च किया। इतिहास में पहली बार मार्च करने वाली टुकड़ी में 3 महिलाएं और 6 पुरुष अग्निवीर शामिल हैं।

कर्तव्य पथ पर दिखी नारी शक्ति
कर्तव्य पथ से इस समय मार्चिंग दस्ते गुजर रहे हैं। इसमें नारीशक्ति की भी झलक देखने को मिली। महिला सैनिक परेड में शामिल हुई हैं। इसके अलावा असम राइफल्स, गोरखा रेजेडेंट. सीआरपीएफ का महिला दल देखने को मिला।

कर्तव्य पथ पर पूर्व सैनिकों की भी झांकी
इस वर्ष परेड का एक अन्य आकर्षण पूर्व सैनिकों की झांकी हो रही, जिसका विषय ‘संकल्प के साथ भारत के अमृत काल की दिशा में पूर्व सैनिकों की प्रतिबद्धता’ है। यह पिछले 75 वर्षों में पूर्व सैनिकों के योगदान और ‘अमृत काल’ के दौरान भारत के भविष्य को आकार देने में उनकी पहल की एक झलक प्रदान कर रहा है।

भारतीय वायु सेना के मार्चिंग दस्ते में नारि शक्ति का प्रदर्शन
भारतीय वायु सेना के मार्चिंग दस्ते में वायु सेना के 144 जवान और चार अधिकारी शामिल हैं। इसका नेतृत्व स्क्वाड्रन लीडर सिंधु रेड्डी कर रही हैं। ‘सीमाओं से आगे भारतीय वायु सेना की शक्ति’ विषय-वस्तु पर केंद्रित वायु सेना की झांकी में भारतीय वायु सेना की विस्तारित पहुंच को प्रदर्शित करते हुए एक घूमते हुए ग्लोब, जिससे यह सीमाओं के पार मानवीय सहायता साथ ही मित्र देशों के साथ अभ्यास प्रदान करने में सक्षम है को भी प्रदर्शित किया। इसमें हल्का युद्धक विमान तेजस मार्क-2, हल्का युद्धक हेलिकॉप्टर ‘प्रचंड’, एयरबोर्न अर्ली वार्निंग एंड कंट्रोल एयरक्राफ्ट नेत्र और सी-295 परिवहन विमानों का भी प्रदर्शन किया गया। झांकी में लेजर डेजिग्नेशन उपकरणों एवं विशेषज्ञ हथियारों के साथ युद्ध ड्रेस में गरुड़ का दल भी प्रदर्शित किया।

कर्तव्य पथ पर भारतीय नौसेना का मार्चिंग दस्ता
भारतीय नौसेना के मार्चिंग दस्ते में 144 युवा नौसैनिक शामिल हैं, जिनका नेतृत्व लेफ्टिनेंट कमांडर दिशा अमृथ कर रहे हैं। पहली बार मार्चिंग दल में तीन महिलाएं और छह अग्निवीर शामिल हैं। भारतीय नौसेना ने अपनी बहु-आयामी क्षमताओं, नारी शक्ति और ‘आत्मनिर्भर भारत’ के तहत प्रमुख स्वदेशी रूप से डिजाइन और निर्मित परिसंपत्तियों का प्रदर्शन किया।

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