नई दिल्ली : रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने वित्तीय प्रौद्योगिकी (फिनटेक) कंपनियों से उद्योग की व्यवस्थित वृद्धि सुनिश्चित करने के लिए जल्द स्व-नियामक संगठन (एसआरओ) स्थापित करने का आग्रह किया।
शक्तिकांत दास ने बुधवार को ग्लोबल फिनटेक फेस्ट (जीएफएफ) 2023 को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा कि हम न केवल भारत में, बल्कि कई अन्य देशों में फिनटेक क्षेत्र में एक बड़े बदलाव के कगार पर हैं। दास ने कहा कि वित्तीय प्रौद्योगिकी कंपनियों को देश के कानून के अनुरूप उद्योग की सर्वोत्तम प्रक्रियाओं, निजता और डेटा सुरक्षा मानदंडों को विकसित करने की जरूरत है।
आरबीआई गवर्नर ने अपने संबोधन में कहा कि भारत में 2011 में 35 फीसदी वयस्क आबादी का बैंक अकाउंट था, जो 2021 में बढ़कर 78 फीसदी हो गया। उन्होंने कहा कि देश में 50 करोड़ से ज्यादा जन धन बैंक अकाउंट खोले गए हैं। दास ने कहा कि भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) अबतक 135 करोड़ आधार कार्ड जारी कर चुका है।
शक्तिकांत दास ने कहा कि भारत में मोबाइल से इंटरनेट इस्तेमाल करने वाले लोगों की संख्या 2014 में 7 करोड़ से बढ़कर 2022 में 80 करोड़ हो गई है। 2014 में डिजिटल ट्रांजेक्शन 1.2 बिलियन था, जो 2022 में 91 बिलियन हो गया है। उन्होंने कहा कि वित्तीय प्रौद्योगिकी क्षेत्र का राजस्व 2030 तक 200 अरब डॉलर पर पहुंचने का अनुमान है।