नई दिल्ली/प्रयागराज : प्रयागराज से मिली एक बड़ी खबर के अनुसार यहां महाकुंभ हादसे में मृतकों की संख्या बढ़कर 49 हो गई है। इस बाबत महाकुंभ प्रशासन ने 24 अज्ञात मृतकों की तस्वीर जारी की। वहीं इस हादसे में मरने वाले 24 लोगों की अब तक पहचान नहीं हो पाई है। इसके पहले महाकुंभ हादसे में 30 लोगों की मौत हुई थी। इस बाबत योगी सरकार ने यह जानकारी दी थी। मगर इसमें मरने वाले 25 लोगों की पहचान हुई और पांच की पहचान नहीं हो पाई है।
जानकारी दें कि, राज्य सरकार द्वारा गठित न्यायिक जांच आयोग ने बीते गुरुवार से ही अपना काम शुरू कर दिया। आयोग के सदस्य आज यानी शुक्रवार को घटनास्थल का दौरा करेंगे। आधिकारिक सूत्रों ने यहां बताया था कि महाकुंभ हादसे की जांच के लिए गठित तीन सदस्य न्यायिक आयोग ने अपने गठन के अगले ही दिन काम शुरू कर दिया है।
बता दें कि, इलाहाबाद हाई कोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश न्यायमूर्ति हर्ष कुमार की अध्यक्षता वाले इस आयोग में सेवानिवृत्त IAS अफसर डी। के। सिंह और सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी वी। के। गुप्ता भी शामिल हैं। आयोग को अपने गठन के एक महीने के अंदर मामले की जांच रिपोर्ट देनी होगी। इस सिलसिले में जारी अधिसूचना के मुताबिक, आयोग भगदड़ के कारणों और परिस्थितियों की जांच करेगा। साथ ही भविष्य में ऐसी घटना की पुनरावृत्ति रोकने के सिलसिले में सुझाव भी देगा।
गौरतलब है कि, प्रयागराज महाकुंभ में मौनी अमावस्या के स्नान के लिए बीते मंगलवार देर रात उमड़ी भीड़ में मची भगदड़ की घटना में अब तक 49 लोगों की मौत हो गई है तथा 60 अन्य जख्मी हो गए हैं। मौनी अमावस्या बीते बुधवार को थी। वहीं ‘अमृत स्नान’ के लिए मंगलवार रात से ही लोगों की भीड़ संगम क्षेत्र में जमा होने लगी थी। इस बाबत बीते बुधवार को प्रयागराज में आठ करोड़ से अधिक श्रद्धालु पहुंचे थे।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे की जांच के लिए तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग का गठन किया था।
वहीं आज समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने राज्य सरकार से महाकुंभ में फंसे श्रद्धालुओं को राहत देने के लिए भोजन, वस्त्र, चिकित्सा तथा वाहनों में ईंधन उपलब्ध कराने की मांग की है। उन्होंने कहा, “महाकुंभ के आस-पास और प्रदेश भर में मीलों तक फंसे वाहनों को पेट्रोल-डीजल की आपूर्ति सुनिश्चित की जाए। दवाई की दुकानों को दिन-रात खोलने की अनुमति दी जाए।”