नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की मां हीराबा (Heeraben Modi) का शुक्रवार को निधन हो गया। जब विवाह हुआ था तो हीराबेन की उम्र तब महज 15-16 साल थी। घर की आर्थिक और पारिवारिक स्थिति कमजोर होने के चलते उन्हें पढ़ने का मौका नहीं मिला। भले ही हीराबेन को पढ़ने का मौका ना मिला हो लेकिन अपने बच्चों को शिक्षा देने के लिए उन्होंने दूसरे के घरों में काम किया। उन्होंने फीस भरने के लिए कभी किसी से उधार पैसे नहीं लिए।
संघर्ष से भरा रहा जीवन
पीएम मोदी का मां हीराबा के प्रति प्रेम जगजाहिर है। वो अक्सर अपनी मां की बातों को याद किया करते हैं। उन्होंने कई कार्यक्रमों में हीराबेन का जिक्र भी किया। हीरा बा के 100 वें जन्मदिन पर प्रधानमंत्री मोदी ने अपने ब्लॉग में लिखा कि उनकी मां हीराबेन का जन्म गुजरात के मेहसाणा जिले के विसनगर के पालनपुर में हुआ था। ये वडनगर के काफी करीब है। हीराबा की मां यानी पीएम मोदी की नानी का स्पेनिश फ्लू महामारी से कम आयु में ही निधन हो गया था। हीराबेन को अपनी मां का चेहरा भी याद नहीं था। हीराबा ने अपना पूरा बचपन अपनी मां के बिना बिताया।
खुद करती थीं काम
पीएम मोदी ने अपने ब्लॉग में लिखा था कि कैसे उनकी मां ना केवल घर के सभी काम खुद करती थीं, बल्कि परिवार पालने के लिए दूसरों के घरों में काम भी करती थीं। पीएम मोदी वडनगर के उस छोटे से घर को अक्सर याद करते थे, जिसकी छत और दीवारें मिट्टी की थी। जहां वो अपने माता-पिता और भाई-बहनों के साथ रहते थे।